Sat Guru

Sat Guru
Bhagwan Shiv

Monday, September 2, 2019

जय गणेश देवा

Jai sri Ganesha,
ॐ महा गणपतिये नमः 
ॐ गणानां त्वा गनपति हवामहे प्रियाणां त्वा प्रियपति हवामहे 
निधीनां त्वा निधिपति हवामहे वासो मम 
आहमजानि गर्भधमा त्वमजासि गर्भधम 
ॐ गं गणपतिये नमः 
ॐ गजाननाय नमः 

ॐ ध्यानार्थेपुष्पं समर्पयामि
आसनानार्थेपुष्पाणिसमर्पयामि
पाद्पदयो:पाद्यंसमर्पयामि


आचमन-स्नानीयं जलंसमर्पयामि_स्नानान्ते आचमनीयंजलंचसमर्पयामि


ॐपय: _पय: स्नानंसमर्पयामि।  पय: स्नानान्तेआचमनीयं


दधिस्नान-दधिस्नानं समर्पयामि,


घृतस्नानं समर्पयामि,


मधुस्नानंसमर्पयामि, 


शर्करास्नानं समर्पयामि,


पञ्चमृतस्नानं समर्पयामि, शुद्धोदकस्नानंसमर्पयामि, 


गन्धोदकस्नानंसमर्पयामि, 


शुद्धोदकस्नानंसमर्पयामि


उपवस्त्रंसमर्पयामि, 


यज्ञोपवीतं समर्पयामि


गन्धानुलेपनंसमर्पयामि


सुगंधित द्रव्यंसमर्पयामि


अक्षतान्समर्पयामि

पुष्पमालां समर्पयामि 

दूब समर्पयामि 

नानापरिमल द्रव्याणिसमर्पयामि

विविध परिमल द्रव्य चढाएं

धूपंमाघ्रापयाम 
दीप-दीपं दर्शयामि

नैवेद्यं निवेदायामि-नैवेद्यान्तेध्यानम्

ऋतुफलानिसमर्पयामि


ताम्बूलपत्रंसमर्पयामि

दक्षिणां समर्पयामि

श्री संकटहर गणपतिये नमः 

श्री विघ्नविनाषाय नमः 

श्री प्रसन्नवदनं नमः 

ॐ श्री सिद्धि बुद्धि सहिताय श्रीमन्महागणाधिपतिये नमः 
जय गणेश जय गणेश जय गणेश देवा
माता जा की पारवती पिता महदेवा
लाद्दूउन का भोग लगे संत करे सेवा
एक दंत दयावंत चार भुजा धारी
मधे सिंदूर सोह मुसे की सवारी
अनधन को आंख देत कोडिन को काया
बझान को पुर्त्र देत निर्धन को माया
पान चड फूल चड और चड मेवा
सुर श्याम शरण आए सफल कीजे सेवा
जय गणेश देवा